हैरोनिमस बॉश द्वारा चित्रित यह दाहिना चौखट जिसे अंतिम निर्णय कहा जाता है, नर्क में पीड़ित पापियों कि दुर्दशा का वर्णन करता हैं l यही विषय प्रमुख चौखट का भी है जिसमे ईसा मसीह को विश्व का न्यायाधीश दिखाया गया है. बॉश ने दोनों चौखटों को एक जैसा चित्रित किया है- अंधकारयुक्त पृष्ठभूमि, अग्नि से निकली हुई ज्वाला और कठोर प्रलय का माहौल।
बॉश की कहानी बाएं हिस्से के ऊपरी ओर से शुरू होती हैं जिसमे शैतान लूसिफर का निष्कासन दिखाया गया है और जिसे जन्नत का नाम दिया गया हैं l कहानी नर्क में समाप्त होती हैं जिसे दाहिने हिस्से में दिखाया गया है l इस प्रकार वह अपने चित्रों में मानवजाती को पाप और अधर्म के जाल में उलझे हुए दर्शातें है l इन तीनों चौखटों में बॉश ने पाप पर ज्यादा ध्यान दिया है बजाये अंतिम निर्णय के जो उस समय का प्रमुख चलन था।
क्या अब भी मानवजाति को मोक्ष और उद्धार कि उम्मीद है ? इस चित्र के अनुसार जिस प्रकार हैरोनिमस बॉश ने मानवजाति को घोर निराशावादी ढंग से दर्शाया है लगता है उनका जवाब नकारात्मक है !
पैनल के प्रमुख और बाएं चौखट को देखना मत भूलना ! आज का चित्र हम विएना ललित कला अकादमी के सौजन्य से लायें हैं l आप इसे हमारे पुरालेख में देख सकतें हैं l
अनुलेख. अगर आपको भी बॉश पसंद हैं तो आप उनके दिलचस्प चित्र लौकिक आनंद का बगीचा यहाँ देख सकतें हैं।